Sunday, November 15, 2015

आज इंटरनेट क्या कर रहा है ? Today the Internet is doing what ?

एक बड़ी तलवार का काम कर रहा है इंटरनेट, आईये देखे कैसे ?

जमाने के इस तेज रफ्तार से भागते और दौडते हुए दौर मे रिश्ते कही खो से गये है? कभी हमने सोचा के यह सब क्या हो रहा है, और क्यो हो रहा हैं.?

पहले पोस्ट कार्ड फिर चिठ्ठी फिर तार फिर टेलेगा्फ फिर टेलीफोन फिर मोबाईल फोन फिर इंटरनेट वगैरह  वगैरह.....

इंसान को लग रहा है की हमने कितनी बड़ी तरक्की कर ली लेकिन इस तरक्की से हम किस कदर एक दूसरे से जुदा हो गए पहले परमेश्वर और उसकी सच्ची भक्ति से और फिर अपने ही रिश्तेदारो से कही बहुत दूर खो से गए,

परमेश्वर बागे अदन मे आदम से रोज ठन्डे समय में मिलता था, हम आपस मे एक दूसरे से रोज मिलते थे, एक दूसरे को रोज देखते थे चेहरो के निशा देख कर एक दूसरे की परेशानियों को समझ जाया करते थे, एक दूसरे को देखते ही लिपट जाया करते थे, बडो का सर पर हाथ रख कर दुआए देना वो कुछ चाय के समय पर एक दूसरे के साथ गप शप यह सब कही खो सा गया?...

आखिर वजह क्या हैं?

बस एक व्हाट्सप्प या मेसेज या फेसबुक पर कैसे हो, खत्म हुआ सब कुछ....? हो गई सारी औपचारिकताएँ पुरी.....

देखे यीशु मसीह वचन मे क्या कह रहे हैं....,,,

प्रकाशितवाक्य 2:4, मे लिखा हैं, पर मुझे तेरे विरूद्व यह कहना है कि तू ने अपना पहला सा प्रेम छोड़ दिया हैं।......कारण  हमारे सामने हैं...

क्या हैं पहले जैसा प्यार एक दूसरे से? रखे हाथ अपने अपने दिल पर और पुछे के यीशु मसीह की शिकायत सही हैं या नही...यह शिकायत बिल्कुल सही है और यह सच भी हैं.....

इंटरनेट के मध्यम से दूर देश जैसे अमेरिका में भी बैठे बैठे एेसा लगता हैं या बात करते समय या मेसेज के द्वारा जैसे हम एक दूसरे के बिल्कुल आमने सामने बैठे हैं,

बड़ी खुशी होती हैं, बात करते समय, लेकिन अगर एक दूसरे को छूने की कोशिश करो तो एक सपना सा लगता है, और सुना है के सपने कभी सच नही होते यानी जो रिश्ते, इंसान की तरक्की यानी कामयाबी से दूर हो गये जिससे हमारे दिल भी एक दूसरे से अलग हो गये ऐसी कामयाबी का क्या फायदा.....यह कामयाबी कम वल्कि शैतान की ताकत ज्यादा हैं.....और इसकी वजह भी हैं?....

दाऊद कहते हैं,मुझे "ज्यो का त्यो कर दे" लेकिन अब मुश्किल है, क्यो कि यह अब हमारी कमजोरी बन गया, आखिर कारण क्या हो सकता है,..?

तो आओ देखे के खुदा का जीवीत वचन क्या बताता हैं,.........

प्रकाशितवाक्य 6: 3-4, मे लिखा हैं, जब उसने दूसरी मोहर खोली तो मैंने दूसरे प्राणी को यह कहते सुना, "आ!" फिर एक और घोडा निकला जो लाल रंग का था उसके सवार को यह अधिकार दिया गया की पृथ्वी पर से "मेल" उठा लें, ताकी लोग एक दूसरे का वध करे; और उसे एक
"बड़ी तलवार" दी गई !


यह हैं भेद जो लोगो को समझ नही आ रहा आखिर हो क्या रहा हैं? यह तरक्की नही हैं, शैतान को मिली वह ताकत हैं जिसका इस्तेमाल वो इंटरनेट के जरिये एक दूसरे को अलग और आपस के मेल को खत्म करने में कर रहा है....

सवाल काफी हैं इस आयत में ? लेकिन हम देखेंगे के वध करने के लिए उसे बड़ी तलवार दी गई ताकी मेल उठा ले....

हम एक बात समझ लें की बाईबल में जगह जगह तलवार का जिक्र आया हैं, हर जगह उसके रूहानी मतलब अलग अलग हैं, लेकिन तलवार का काम वही हैं जो तलवार करती हैं यानी अलग करना....

मिसाल के तौर पर, यूहन्ना 18:10, में, पतरस ने तलवार चलाई तो मलखुस का दाहिना कान जिस्म से अलग कर दिया.....

यह मिसाल इस लिए हैं, के हम यह समझे की रूहानी बात को समझाने के लिए यह वचन जिसमानी भाषा मैं लिखा गया हैं....

तो हम ने देखा के पतरस ने तलवार से कान को शरीर से अलग कर दिया। किस से तलवार से..

आईये इस का रूहानी मतलब समझते हैं....

प्रकाशितवाक्य 1:16,मे लिखा हैं, वे अपने हाथ में (कौन यीशु मसीह) साथ तारे लिए था,और उसके मुख से ( किसके यीशु मसीह के) तेज दाेहधारी तलवार निकलती थी...

अब सवाल यह उठता हैं? मुँह से वचन तो निकलता हैं पर यह तलवार? मैरे प्यारे भाई बहनों यह वचन ही हैं जो यीशु मसीह के मुँह से निकलता हैं..और तलवार का काम करता हैं जो गूदे गूदे को अलग करता हैं,.....

ठीक इसी तरह .....

प्रकाशितवाक्य 6:3-4,में जो तलवार शैतान को दी गई हैं जिसका इस्तेमाल वो इंसान को इंसान से अलग करने के लिए कर रहा हैं, जिसके द्वारा वो रिश्तो का वध कर रहा हैं, और हम उसकी इस चाल को समझ नही पा रहे और शैतान ने इसका इस्तेमाल इंटरनेट की शक्ति के द्वारा इंटरनेट को तलवार बनाकर किया....

आज साईन्स की तरक्की इन्सान के द्वारा इन्टरनेट हैं जिसे वह अपनी सबसे बड़ी उपलब्धि मानता हैं, जिसके द्वारा लोगों का आपस में रिश्तो का वध हो रहा हैं,....

हम सोचे के हम किस ओर जा रहे हैं यह बाईबल खुदा के मुँह से निकले शब्दो के द्वारा रची गई हैं, जिसका एक भी शब्द बिना पुरा हुए नही टल सकता है

जो हर हाल में पुरा होना हैं हम शैतान की ताकत उसकी चालो से कितना बच सकते हैं, यह हमारे उपर हैं...

हम इंटरनेट के खिलाफ नही हैं वल्कि हमारा कहने का तात्पर्य है की इसे सिर्फ परमेश्वर की महीमा के लिए ही इस्तेमाल करना चाहिए ....

कुछ हमारी बेटीया और बहनें अलग अलग पोज की फोटो डालकर लोगों से यह देखना चाहती हैं कितने लोग मुझे लाइक कर रहे हैं, या कितनो ने लाइक किया......

जो बहन और बेटियाँ घर की इज्जत थी आज इंटरनेट पर आम हैं अलग अलग कमेन्ट खैर इसमें मैं और मेरा परिवार भी शामिल हैं,....

हमें तो परमेश्वर अपने बेटे के लिए लाइक कर चुका, हमको अपने बेटे के लहू से शुद्ध कर चुका, हम सब का दुल्हा यीशु मसीह हैं, हम उसकी दुल्हन हैं.....

अब हमे कोई लाईक करे या न करे हम लाइक हो चुके हैं, यह केवल शैतान की चाल हैं जिसने सबको गुमराह कर रखा हैं....

हमे बचना है शैतान की चालो से, जब से इंटरनेट आया हमने बाईबल पढ़ना कम कर दिया बस किसी फोटो पे लिखी किसी आयत को उठाया कट किया और पेस्ट कर दिया, क्या इससे हमारी आत्मिक उन्नति हो सकती हैं ? कभी नही....

यीशु ने कहाँ जो डाली मुझ में लगती हैं, उसे मैं काटता और छाटता हूँ ताकि बहुत सा फल लाए.....

हम बाईबल से कम इंटरनेट के माध्यम से फोटो कट पेस्ट ज्यादा करते हैं, तो कैसे फल आएगा.....

दाऊद कहते है मुझे ज्यो का त्यो कर दें, आज हम सब कहे हे परमेश्वर हमे ज्यो का त्यो कर दें, ताकि हम दुबारा बाईबल पढ़े और प्रभु यीशु मसीह हमे काटे और छाटे ताकि हम मे फल आए और बहुतायत से आए.....यह तभी होगा जब हम दर्पन यानी वचन मे अपने आप को देखेंगे...आमीन

प्रभु हम सब की मदद करे आप सब को जय मसीह की..


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